आखिर खामोशी को किस देश की खूबसूरती कहा जाता है ?

लालकिला पोस्ट डेस्क
हम हिंदुस्तानी बहुत बातूनी होते हैं। कोई मिल भर जाए, तो फिर जो बातों का सिलसिला शुरू होता है, वो कई बार घंटों तक चलता रहता है। और क्या हाल है… से शुरुआत होती है। फिर राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय मसलों तक खिंचती चली जाती है। चाय की दुकान पर अनजान लोगों से बहसें लडाई जाती हैं। लोग पान खाने के शौकीन हों न हों, पान की दुकान पर हो रही चर्चा में जरूर शामिल हो जाते हैं। ट्रेन के सफर में मुबाहिसे छिड जाते हैं कि कौन सा नेता अच्छा और कौन खराब है।
लेकिन आज हम आपको एक ऐसे देश के बारे में बताने जा रहे हैं, जहां गप-शप को बहुत बुरा माना जाता है। जहां खामोशी को वहां की खूबसूरती माना जाता है। जी हां, हम बात कर रहे हैं उत्तरी यूरोपीय देश फिनलैंड की, जहां जहां लोग एक-दूसरे से ये पूछना भी नापसंद करते हैं कि क्या हाल है। यहां खामोशी को सोना है और बतियाने को चांदी कहा जाता है। फिनलैंड के लोग मानते हैं कि अगर कोई अहम बात चर्चा के लिए नहीं है, तो खामोश रहना बेहतर है। फिनलैंड में करीबी दोस्तों को छोड दें तो लोगों के बीच छोटी-मोटी गप-शप बिल्कुल नहीं होती।
कॉफी शॉप में जाएंगे, तो बस इतनी सी बात होगी कि आप क्या चाहते हैं। आप किसी सार्वजनिक जगह पर बैठे हैं, टहल रहे हैं या मेट्रो मे सफर कर रहे हैं, कोई बात करता नहीं नजर आएगा। सन्नाटा ही दिखेगा। लोग अपने आस-पास से गुजर रहे अनजान लोगों से बेफिक्र रहते हैं, बात नहीं करते। ऐसे माहौल में किसी और देश के लोग शोर मचाने वाले समझे जाते हैं। फिनलैंड के लोग अक्सर विदेशी नागरिकों, सैलानियों या दोस्तों से भी कहीं पर अचानक मिलने-बतियाने में यकीन नहीं रखते।
वैसे तो फिनलैंड के लोगों की खामोशी की कई वजहें बताई जाती हैं। जिसमें से एक वहां की फिनिश भाषा बहुत पेचीदा है। इस भाषा में सीधा संवाद बेहद मुश्किल है।